
ब्रज चैरासी के संत सम्मेलन एवं हवन यज्ञ के साथ तीन दिवसीय महोत्सव का समापन
– राधारानी बनी राजा व कृष्ण बने कोतवाल
मथुरा। श्रीकृष्ण व राधा जी के जन्म उत्सव के बाद ब्रज में उनकी लीलाओं का अनुसरण कर मनोरथ किये जा रहे हैं। गांव उमराया राधाविनोद जी मंदिर पर आयोजित राधारानी के राज्याभिषेक के उपलक्ष्य में आयोजित तीन दिवसीय महोत्सव का समापन सोमवार को संत-विद्वत सम्मेलन के साथ हुआ। इस अवसर पर निताई-गौरांग विग्रह प्रतिष्ठा एवं राधारानी के राज्याभिषेक में भक्ति की धारा प्रवाहित हुई। नगर संकीर्तन परिक्रमा व महाप्रसाद में हजारों भक्तों ने भाग लिया। ब्रज चैरासी के संत-महंतों के सम्मेलन में मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश सरकार के कैबनेट गन्ना मंत्री लक्ष्मीनारायण चैधरी ने कहा कि ब्रज में राधारानी की साक्षात लीलाओं का अनुसरण किया जा रहा है। उनके जन्म के बाद राज्याभिषेक की लीला का आंनद मिल रहा है। बताया कि उत्तर प्रदेश की सरकार धार्मिक धरोहरों के सौंदर्यीकरण एवं पुनरोद्धार के संकल्पित है। ब्रज के गांव-गांव में विकास की गंगा बह रही है। उन्होंने मंत्रोच्चारणों के बीच दूध-दही, गंगाजल आदि के पंचामृत से अभिषेक किया। विशिष्ट अतिथि के रूप में सभापति श्रीरघुनाथ दास गोस्वामी गद्दी राधाकुंड के गद्दीनशीन महंत बाबा केशव दास महाराज ने बताया कि उमराया में द्वापर युग में राधारानी का राज्यभिषेक हुआ है और यहां स्वयं भगवान श्रीकृष्ण कोतवाल बने हैं। कार्यक्रम के आयोजक प्राणकृष्ण दास बाबा जी महाराज ने बताया कि ब्रज में पग-पग पर श्रीकृष्ण व राधा जी की लीला हैं। इन्हीं लीलाओं का साक्षी ब्रज का गांव उमराया है। यह लोकनाथ गोस्वामी पाद की भजन स्थली है। संत सम्मेलन में संत व ग्रामीणों ने गन्ना मंत्री (कैबनेट मंत्री) लक्ष्मीनारायण चैधरी से श्रीकिशोरी कुंड के पुनरोद्धार कराने की मांग की। उन्होंने जल्द ही किशोरी कुंड के पुनरोद्धार के साथ-साथ छाता को उमराया से जोड़ने वाली सड़क के निर्माण का आश्वासन दिया। संचालन व्यास परीक्षित दास महाराज ने किया। सभी संतों का स्वागत प्राणकृष्ण दास जी महाराज ने किया। इस अवसर पर नित्यानंद प्रभु वंशधर प्रभुपाद प्रेम गोपाल गोस्वामी, तपन दास, केशव दास, सेवायत परमेश्वर दास, सुवल सरदार, दीनबंधु दास, भगवान दास आदि थे।