
श्रीकृष्ण जन्मभूमि मामले : सिविल जज सीनियर डिवीजन में एक और प्रार्थना दाखिल, सुनवाई एक जुलाई को
मथुरा। श्रीकृष्ण जन्मभूमि एवं शाही ईदगाह मामले को लेकर अदालत में प्रार्थना पत्र दाखिल करने का दौर लगातार जारी है। सोमवार को अखिल भारत हिन्दू महासभा के ओर से सिविल जज सीनियर डिवीजन की अदालत में एक प्रार्थना पत्र दाखिल किया गया है। इस प्रार्थना पत्र में याची दिनेश शर्मा ने न्यायालय से शाही ईदगाह को भगवान श्री कृष्ण का असली गर्भ गृह बताते हुए वहां गंगा जल व यमुना जल से शुद्ध करने की मांग की। वहीं श्रीकृष्ण जन्मस्थान मामले में एक अन्य वादी राजेंद्र माहेश्वरी ने अदालत में प्रार्थना पत्र दाखिल किया है, दोनों ही वादों की सुनवाई एक जुलाई को होगी।
अखिल भारत हिन्दू महासभा ने 2021 में श्री कृष्ण जन्मस्थान को मुक्त कराने के लिए प्रार्थना पत्र दाखिल किया था । इस मामले में सिविल जज सीनियर डिविजन की कोर्ट में सुनवाई चल रही है। इसी वाद में वादी दिनेश शर्मा ने सोमवार को एक प्रार्थना पत्र और दाखिल किया। जिसमें दिनेश शर्मा ने कहा कि विवादित संपत्ति कथित ईदगाह ठाकुर जी का पूर्व में गृभग्रह था। वादी की इच्छा है कि वह ग्रभग्रह का यमुना जल और गंगाजल से शुद्ध करे जिससे उसका जीवन सफल हो सके। इससे पूर्व वादी दिनेश चंद शर्मा ने इसी प्रकार का एक प्रार्थनापत्र इसी अदालत में 19 मई को दिया था जिसमें शाही मस्जिद ईदगाह में मौजूद गर्भगृह में लड्डू गोपाल का अभिषेक करने की इजाजत अदालत से मांगी गई थी। सिविल जज सीनियर डिवीजन ने अभी उनके किसी प्रार्थनापत्र में कोई आदेश पारित नहीं किया
वहीं श्रीकृष्ण जन्मस्थान मामले में एक अन्य वादी राजेंद्र माहेश्वरी ने अदालत में प्रार्थना पत्र दाखिल कर वाद पर सुनवाई के लिए निर्धारित की गई एक जुलाई के स्थान पर आज ही सुनवाई करने की मांग की। इसके पीछे तर्क दिया कि ग्रीष्मावकाश के कारण जून में कोर्ट बंद रहेगी। ऐसे में शाही मस्जिद ईदगाह में जो मंदिर के अवशेष हैं, उन्हें नष्ट किया जा सकता है। अदालत में आज दाखिल प्रार्थना पत्र पर भी सुनवाई के लिए एक जुलाई की तारीख तय की गई है। राजेंद्र माहेश्वरी ने पूर्व में एक वाद दायर कर श्री कृष्ण जन्मस्थान से शाही मस्जिद ईदगाह हटाने की मांग की है।